तुलाराम सहिस की रिपोर्ट
स्थानीय पुलिस प्रशासन बेपरवाह नहीं करते कोई कार्यवाही
सक्ती :- जिले के हसौद थाना से लगे हुए ग्राम हसौद देवरघटा धमनी मे खुलेआम अवैध शराब बिक्री हो रही है जिसके कारण यहां के रहवासी काफी परेशान हैं गांव की गली गली में शराब की अवैध बिक्री की जा रही है शराब के अवैध कारोबार से पुलिस के साथ आबकारी विभाग की भी कार्यप्रणाली पर भी कई सवाल खड़े हो रहे हैं साथ ही हसौद थाना क्षेत्र के होटल और चौक चौराहा के साथ साथ ढाबों में संचालकों द्वारा बेखौफ शराब पिलाने की व्यवस्था है क्षेत्र में संचालित कई होटल और ढाबा के संचालकों द्वारा मदिरा प्रेमियों के बैठने खाने-पीने की अलग व्यवस्था बनाई गई है इसके बावजूद पुलिस प्रशासन बेपरवाह बना हुआ है
अनेक बार शराबियों के द्वारा अधिक मात्रा में शराब पी लेने के वजह से यहां आए ग्राहकों के साथ विवाद की स्थिति निर्मित हो जाती है जिसके कारण लोग परिवार लेकर आए ग्राहकों के साथ शराबी वर्ग जबरन उलझ जाते हैं इतना ही नहीं बल्कि पुलिस के संरक्षण में चौक चौराहा होटल और ढाबो में आये दिन शराब भी बेचे जाने की खबर समय-समय पर आते रहती है दरअसल हसौद थाना क्षेत्र में संचालित ढाबो में मदिरा प्रेमियों को तमाम तरह की सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है क्षेत्र के कुछ होटल और ढाबों में जहां बैठकर पीने पिलाने की सुविधा दी जा रही है तो वहीं कई ढाबों में विभिन्न ब्रांड की शराब भी आसानी से उपलब्ध कराई जा रही है खास बात यह है कि बैठने पिलाने की व्यवस्था कर होटल और सफेद पोश जनप्रतिनिधियों की बड़ी-बड़ी दर्जनों गाड़ियां लाइन से खड़ी रहती है और ढाबों के अंदर जाम से जाम टकराए जाते हैं यह सिलसिला देर रात तक चलते रहता है ऐसा नहीं है कि इसकी जानकारी पुलिस प्रशासन के अधिकारियों को नहीं है लेकिन कुछ स्वार्थ और कुछ राजनीतिक संरक्षण के कारण रसूखदार ढाबा और होटल संचालकों पर कोई कार्यवाही नहीं की जाती है जिसके कारण आसपास के रहवाशियो में आक्रोश है वहीं सड़क के दोनों किनारे पर गाड़ियां खड़ी हो जाने के कारण दुर्घटनाओं की आशंका भी बढ़ जाती है ढाबा संचालक द्वारा रोजाना हजारों रूपए की कमाई के साथ ही खाने-पीने और चखने को बेचकर मोटी कमाई भी की जा रही है ढाबो सहित होटल में हर रोज रात का माहौल देखने लायक रहता है कई बार शराबी यहां हंगामा मचाते रहते हैं जो ढाबा में शराब पीकर लोगों के साथ गाली गलौज करके विवाद उत्पन्न करते हैं इससे शांति भंग के साथ-साथ कभी भी कोई बड़ी वारदात होने की अंदेशा बना रहता है।